कार्तिक पूर्णिमा पर श्रद्धालु लगा रहे आस्था की डुबकी, कोरोनाकाल के बाद पहली बार बिना रोकटोक कर रहे स्नान
कार्तिक पूर्णिमा स्नान पर्व पर धर्मनगरी हरिद्वार में श्रद्धालु गंगा घाटों पर आस्था की डुबकी लगा रहे हैं। खास बात है कि कोरोनाकाल के बाद पहली बार श्रद्धालु बिना रोकटोक के लिए स्नान कर पा रहे हैं। उनमें बेहद उत्साह देखने को मिल रहा है। वहीं, सुरक्षा और यातायात व्यवस्था को लेकर पुलिस ने भी कमान संभाली है। मेला क्षेत्र को नौ जोन और 32 सेक्टरों में बांटा गया है।
गंगा घाटों पर तड़के से ही श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़नी शुरू हो गई है। बड़ी संख्या में यहां पहुंचने वाले श्रद्धालु स्नान-ध्यान के बाद दान पुण्य भी कर रहे हैं। श्रद्धालुओं की भीड़ के मद्देनजर प्रशासन ने सुरक्षा व्यवस्था संबंधी सभी बंदोबस्त कड़े कर रखे हैं। श्रद्धालुओं से शारीरिक दूरी और मास्क लगाने की लगातार अपील की जा रही है।
पुलिस के जवान हरकी पैड़ी और अन्य गंगा घाटों पर मास्क के बगैर आने वाले श्रद्धालुओं को रोककर इसके लिए टोक रहे हैं और उन्हें मास्क उपलब्ध करा रहे हैं। ठंड के बावजूद श्रद्धालुओं के उत्साह और उमंग में कोई कमी नहीं है। जय गंगा मैया के साथ गंगा में उनकी डुबकी लगाने का सिलसिला सूर्य उदय के पहले से ही शुरू हो गया था। बच्चे बूढ़े और महिलाएं सभी इसमें शामिल हैं।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक योगेंद्र सिंह रावत ने बताया कि पर्व के दौरान निरंतर चेकिग की जाएगी। इसके लिए बम निरोधक दस्ते की दो टीम मय डॉग स्क्वायड के नियुक्त की गई है। वहीं भीड़ पर नियंत्रण रखने के लिए घुड़सवार पुलिस की भी तैनाती की गई।
स्नान पर्व के दौरान महत्वपूर्ण सूचना संकलित करने के लिए स्थानीय अभिसूचना इकाई के 12 अधिकारी व कर्मचारी नियुक्त किए गए हैं। यात्रियों के डूबने की घटनाओं पर रोकथाम के लिए महत्वपूर्ण स्नान घाटों पर 14 जल पुलिस के जवानों व एक प्लाटून फ्लड कंपनी को मय बोट के तैनात किया गया है।
मेला क्षेत्र में चोर और जहरखुरानी गिरोह के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए प्रभारी निरीक्षक कोतवाली नगर व चौकी हरकी पैड़ी प्रभारी के नेतृत्व में विशेष टीम को नियुक्त किया गया है। स्नान पर्व के दौरान सुचारू यातायात व्यवस्था के लिए विशेष यातायात योजना तैयार की गई।
इससे पहले कार्तिक पूर्णिमा स्नान पर्व को देखते हुए 18 और 19 नवंबर को हरिद्वार में विशेष यातायात प्लान लागू किया गया। यातायात पुलिस ने इन दो दिनों के लिए डायवर्जन और पार्किंग प्लान जारी किया। इसके तहत भारी मालवाहक वाहनों को जिले की सीमाओं पर रोका जा रहा है। शहर के भीतर यात्री बाहुल्य क्षेत्र में आटो, विक्रम, ई-रिक्शा का प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा।